shahid e aazam bhagatsingh ke dwara kahi gai baate books and stories free download online pdf in Hindi

शहीद ए आज़म भगतसिंह के द्वारा कही गई बाते


1 . "राख का हर एक कण मेरी गर्मी से गतिमान है मैं एक ऐसा पागल हूँ जो जेल में भी आज़ाद है ।"

2. "किसी को “क्रांति ” शब्द की व्याख्या शाब्दिक अर्थ में नहीं करनी चाहिए। जो लोग इस शब्द का उपयोग या दुरूपयोग करते हैं उनके फायदे के हिसाब से इसे अलग अलग अर्थ और अभिप्राय दिए जाते है।"

3. "आम तौर पर लोग चीजें जैसी हैं उसके आदि हो जाते हैं और बदलाव के विचार से ही कांपने लगते हैं। हमें इसी निष्क्रियता की भावना को क्रांतिकारी भावना से बदलने की ज़रुरत है ।"

4. "जो व्यक्ति भी विकास के लिए खड़ा है उसे हर एक रूढ़िवादी चीज की आलोचना करनी होगी , उसमे अविश्वास करना होगा तथा उसे चुनौती देनी होगी ।"

5. "मैं इस बात पर जोर देता हूँ कि मैं महत्त्वाकांक्षा , आशा और जीवन के प्रति आकर्षण से भरा हुआ हूँ. पर मैं ज़रुरत पड़ने पर ये सब त्याग सकता हूँ, और वही सच्चा बलिदान है।"

6."मैं एक मानव हूँ और जो कुछ भी मानवता को प्रभावित करता है उससे मुझे मतलब है।"


7. "किसी को “क्रांति ” शब्द की व्याख्या शाब्दिक अर्थ में नहीं करनी चाहिए। जो लोग इस शब्द का उपयोग या दुरूपयोग करते हैं उनके फायदे के हिसाब से इसे अलग अलग अर्थ और अभिप्राय दिए जाते है।"

8. "किसी भी कीमत पर बल का प्रयोग ना करना काल्पनिक आदर्श है और नया आन्दोलन जो देश में शुरू हुआ है और जिसके आरम्भ की हम चेतावनी दे चुके हैं वो गुरु गोबिंद सिंह और शिवाजी, कमाल पाशा और राजा खान , वाशिंगटन और गैरीबाल्डी , लाफायेतटे और लेनिन के आदर्शों से प्रेरित है।"

9. "व्यक्तियो को कुचल कर , वे विचारों को नहीं मार सकते।"

10. "क्रांति मानव जाती का एक अपरिहार्य अधिकार है. स्वतंत्रता सभी का एक कभी न ख़त्म होने वाला जन्म-सिद्ध अधिकार है. श्रम समाज का वास्तविक निर्वाहक है।"

11 ."जबसे सुना है मरने का नाम जिन्दगी है
सर से कफन लपेटे कातिल को ढूँढ़ते हैं।"

12."लिख रहा हूं मै अजांम जिसका कल आगाज आयेगा,
मेरे लहू का हर एक कतरा इकंलाब लाऐगा,"

_ भगत सिंह

मेरी बात

मेरे जीवन के आदर्श भगत सिंह जी को मेरा शत शत नमन । बचपन में इनके जीवन की अनेक कहानिया जैसे खैत में अनाज की जगह गोलियां बोना, या घर में जब शादी की बात उठी तब यह कहकर मना कर देना की “अगर आजादी के पहले मैं शादी करूँ तो मेरी दुल्हन मौत होगी। ”,और जब उन्हें फाँसी दी गई तब भी उनके चेहरे पे हसी थी। और ऐसी कई किस्से कहानी सुने एवम पढ़े  और जब स्कूल में एक नाटक में इस महान व्यक्ति का पात्र निभाने का मौका मिला और उस नाटक को लिखने का मुझे मौका भी मिला और इस वजह से मेरी कलम और मेरा जीवन सफल एवं धन्य हो गए ।

शहीद ए आजम भगत सिंह, राजगुरु ओर सुखदेव को शहीद दिन पर मेरा और मेरी कलम का शत शत प्रणाम।

Aryan suvada
 
नोट : मेरी एग्जाम चल रही होने के कारण द लास्ट हार्टबीट के एपिसोड नही लिख पा रहा एग्जाम खत्म होते ही आपके सामने जल्दी  से जल्दी उसके एपिसोड पेश करूँगा  इस देरी के लिए आप सभी से माफी चाहता हु  आशा करता हु की आप मेरी बात को समझेंगे तब तक के लिए अलविदा