आजादी - 18

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राहुल बंद कमरे में पड़ा बड़ी देर तक अपने ख्याली घोड़े दौडाते रहा लेकिन उसके ख्याली घोड़े किसी मंजिल तक नहीं पहुंचे और इस दिमागी कसरत से थक हार कर राहुल वहीँ कमरे में बैठे बैठे ही निढाल हो गया । कहना जरुरी नहीं कि इसमें पिछली रात के रतजगे का भी खासा असर था । दुसरे बच्चे भी मन से बेचैन ही सही लेकिन ऊपर से निश्चिन्त हो आराम फरमा रहे थे ।पता नहीं कितनी देर तक राहुल ऐसे ही पड़ा रहा । भूख और हलकी ठण्ड के अहसास से उसकी नींद खुल गयी । उसने खुद को उन