Best Moral Stories in English, Hindi, Gujarati and Marathi Language

सर्कस - 10

by Madhavi Marathe

सर्कस:१० हम लडकों ने पहले ही तय किया था कि अरुण सर जहाँ बैठेंगे उन्ही के अगल-बगल ...

मला स्पेस हवी पर्व १ - भाग २१

by Meenakshi Vaidya

मला स्पेस हवी पर्व १ भाग २१मागील भागात आपण बघीतलं की नेहा ताम्हाणे साहेबांना आपली टूरप्लॅनींगबरोबर जाहिरातीमधील नव्या कल्पना ...

यूँ ही सफर में

by arvind srivastava

“मैं सोचता हूँ कि अब इस घर को बेच दूँ।“राघव (राघवेन्द् ) ने अपने कमरे की खिड़की से बाहर ...

आधुनिक बहू, परंपरा का सम्मान

by Lyf zindgi
  • 222

रिया, एक तेजतर्रार ग्राफिक डिज़ाइनर, हमेशा से ही अपनी शर्तों पर जीने में विश्वास रखती थी। शादी के बाद, ...

નલિની

by Sharad Trivedi
  • 228

સુસવાટા મારતો શિશિરનો પવન. ઠંડી કહે મારું કામ. તમારો એકનો એક દિકરો આશુતોષ હજી હોસ્પિટલથી આવ્યો ન હોતો. પુત્રવધુ ...

शोहरत का घमंड - 66

by shama parveen
  • 372

अरुण की बाते सुनकर आर्यन हंसने लगता है और बोलता है, "अभी आगे आगे देख भाई क्या होता है।उसके ...

कंचन मृग - 21. धौंसा बजा

by Jitesh Pandey
  • 147

21. धौंसा बजा- शिशिर गढ़ पर वत्सराज पुत्र पुरुषोत्तम शासन कर रहे थे। वत्सराज संस्कृत में श्लोक रचते थे। ...

સ્પર્શ

by Snehal
  • 450

વાર્તા:- સ્પર્શ રચયિતા:- શ્રીમતી સ્નેહલ રાજન જાનીમાધવ ક્યારનો ક્યારેક પેસેજમાં તો ક્યારેક મધુનાં રૂમમાં આંટા મારી રહ્યો હતો. જ્યારથી ...

સવાઈ માતા - ભાગ 63

by Alpa Purohit
  • 324

સર્જક : અલ્પા ભટ્ટ પુરોહિત, વડોદરાલેખન તારીખ :૨૮-૦૪-૨૦૨૪,રવિવારમેવાએ તેનાં રખડુ ભાઈબંધો સાથે ફરતાં આ મોલ બહારથી જરૂર જોયો હતો ...

मला स्पेस हवी पर्व १ - भाग २०

by Meenakshi Vaidya
  • 519

मला स्पेस हवी पर्व १ भाग २०मागील भागात आपण बघीतलं की नेहा टूर आणि जाहीरात यासंबंधी आपले नवीन प्लॅन ...

અનામી અંકલ

by Mital Thakkar
  • 328

અનામી અંકલ - મિતલ ઠક્કરઅનામી અંકલ, આજે વર્ષો પછી હું આ પત્ર આપને લખી રહી છું. હું આજે જે ...

સીમાંકન - 5

by mrigtrushna R
  • 302

નોંધ: કેટલાક વ્યક્તિગત કારણોસર પ્રકરણ નિશ્ચિત સમયાંતરે લખી નથી શકતી એ માટે દિલગીર છું. સર્વે વાચકમિત્રોનો ખૂબ ખૂબ આભાર ...

कंचन मृग - 20. यह युद्ध नहीं युद्धों की श्रृंखला थी

by Jitesh Pandey
  • 339

20. यह युद्ध नहीं युद्धों की श्रृंखला थी- चाहमान नरेश का अंतरंग सभा कक्ष, जिसमें मन्त्रिगण एवं मुख्य सामन्त ...

તારી પીડાનો હું અનુભવી

by DadaBhagwan
  • 370

બહાર ખૂબ ઉકળાટ હતો. ગરમીમાંથી છુટકારો મળે અને મેઘરાજાની મહેર વરસે એવી આશ દરેક મનુષ્યમાં જ નહીં પણ મૂંગા ...

સવાઈ માતા - ભાગ 62

by Alpa Purohit
  • 462

સર્જક : અલ્પા ભટ્ટ પુરોહિત, વડોદરા**લેખન તારીખ : ૨૭-૦૪-૨૦૨૪, શનિવાર*જમતાં જમતાં રાજી અને રમીલા વાતો કરતાં રહ્યાં. આજે પહેલી ...

मला स्पेस हवी पर्व १ - भाग १९

by Meenakshi Vaidya
  • 603

मला स्पेस हवी पर्व १ भाग १९ मागील भागात आपण बघीतलं की सुधीरने आई बाबांना नेहाच्या बंगलोरला जाण्यामागचं खरं ...

उजाले की ओर –संस्मरण

by Pranava Bharti
  • 303

=================== नमस्कार मित्रो जीवन के अनुभवों से हम न जाने कितना कितना सीखते हैं। एक दिन में न जाने ...

हरसिंगार

by Bharati babbar
  • 2.4k

डॉक्टर के चले जाने के बाद भी आभा देर तक बरामदे में ही बैठी रही।मेज़ पर चाय की जूठी ...

कंचन मृग - 19. पारिजात शर्मा कहाँ नहीं गए?

by Jitesh Pandey
  • 408

19. पारिजात शर्मा कहाँ नहीं गए? पारिजात शर्मा कहाँ नहीं गए? नदियों के श्मशान घाट पर महीनों बिताने के ...

વૈષ્ણવોને વ્હાલાં વલ્લભાચાર્ય

by Jagruti Vakil
  • 504

વલ્લભાચાર્ય જયંતિ જેમણે રચેલું અધરમ મધુરમ વદનમ મધુરમ’ પંક્તિઓ વાળું મધુરાષ્ટકમ અતિ પ્રસિદ્ધ છે. તેવા વૈષ્ણવજનના વહાલા, પુષ્ટિમાર્ગના પથપ્રદર્શક ...

शोहरत का घमंड - 65

by shama parveen
  • 717

सारी बाते सुन कर आलिया के पापा के सर में दर्द होने लगता है तभी वो बोलते हैं, "बस ...

मला स्पेस हवी पर्व १ - भाग १८

by Meenakshi Vaidya
  • 798

मला स्पेस हवी पर्व १ भाग १८मागील भागात आपण बघीतलं की सुधीर आईबाबांना नेहाचं बंगलोरला जाण्यामागचं खरं कारण सांगतो. ...

સવાઈ માતા - ભાગ 61

by Alpa Purohit
  • 470

સર્જક : અલ્પા ભટ્ટ પુરોહિત, વડોદરા**લેખન તારીખ : 26-04-24, શુક્રવાર* પિતાએ પ્રેમથી ખવડાવેલ કુલ્ફી હોય કે પછી રાજીનાં હાથનું ...

कलयुग के श्रवण कुमार - 9

by Sandeep Singh (ईशू)
  • 534

कलयुग के श्रवण कुमार........ मनोहर ने मुरली से पूछा था- "क्या हो गया था मुरली ।" कुछ नही मनोहर ...

मरीमाय - भाग 1

by Sanjay Yerne
  • 1k

मरीमाय भाग १ अंगणात कोंबडी पचकन हागली. तसाच शामराव तिच्या पिवळ्या-पातळ हगवणीकडे पहात विचारात गढला गेला होता. ...

शोहरत का घमंड - 64

by shama parveen
  • 741

आलिया के घर में सभी खाना खा रहे होते हैं। आलिया का अपनी बुआ जी के साथ बैठ कर ...

कंचन मृग - 18. दिल्ली की ओर भी प्रस्थान कर सकता है

by Jitesh Pandey
  • 534

18. दिल्ली की ओर भी प्रस्थान कर सकता है- महाराज पृथ्वीराज जिन्हें ‘राय पिथौरा’ के नाम से भी जाना ...

सर्कस - 9

by Madhavi Marathe
  • 348

सर्कस : ९ आज दिल्ली में हमारा आखरी शो था। तीन दिन के बाद यहाँ से दुसरी ...

बन्धन प्यार का - 24

by किशनलाल शर्मा
  • 546

और उस दिन तो नगमा चली गयी थी।लेकिन जफर और नगमा निकाह का मन बना चुके थे।सलमा ने यह ...

मला स्पेस हवी पर्व १ - भाग १७

by Meenakshi Vaidya
  • 837

मला स्पेस हवी पर्व १ भाग १७मागील भागात आपण बघीतलं की सुधीरला नेहा बद्दल विचारायचं ठरवतात त्यांचे आईबाबा पण ...