गिरफ्त

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गिरफ्त "यह मंदिर अपने आप में बहुत अद्भुत है.. यहां हर मनोकामना पूरी होती है"; मंदिर जाने के रास्ते में चलते हुए रागनी की सास ने उंगली से मंदिर की ओर इशारा करते हुए कहा. यह कहते हुए उनकी आंखों में अपार श्रद्धा का भाव सहज ही उतर आया था. "मां जी! मुझे ऐसी बातों में... " रागिनी थोड़ी सी हिचकते हुए बोली. "यहां साक्षात दुर्गा मां विराजमान है.. और इस मंदिर का निर्माण भूतों के द्वारा हुआ था... " रागिनी की बात को बीच में ही काटते हुए पंडित बोल पड़ता है. "क्या मतलब! ... रागिनी की आंखों