बेगुनाह गुनेहगार 6

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लेकिन प्यार के आकर्षण के आगे सुहानी कुछ देख न पाई। सुहानी अपने भैया भाभी के साथ ऊपर के कमरे मे सोती है। एक दिन सुबह 4 बजे रोहित ने सुहानी को मैसेज किया बाहर आओ। सुहानी ने देखा भैया भाभी सो रहे है । वो धीरे धीरे बाहर गई। देखा तो रोहित वहां खड़ा है। सुहानी रोहित के पास गई। दोनो गले मिले। रोहित सुहानी का अंग अंग छू रहा है। सुहानी बेझुबा होकर उसका अनुभव कर रही है। दो ही मिनट हुआ कि नीचे से आवाज आई। रोहित बोला अंदर जाकर सोजा। फिर मिलते है। कहते है न जब खुदा किसीके साथ हो न तो उसका कोई बाल भी नही मोड़ सकता।