बेगुनाह गुनेहगार 11

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अब तक हमने देखा कि सुहानी की जिंदगी से खेलने के लोग आए। शायद इसीलिए क्योकि सुहानी ने उनको अपनी जिंदगी तबाह करने दी। सुहानी को सोचना चाहिए था। लेकिन अगर सोच समझ कर करती तो ये गलतिया टैब नही होती। लेकिन आगे जाकर जरूर होती। क्योंकि सुहानी उस दुनिया मे जी रही है जहाँ सच नही, लोग क्या कहते है उस रास्ते पर जीना होता है। चाहे फिर आप घूंट घूँट कर ही क्यो न मर जाओ। सुहानी को एक दोस्त मिल चुका है। अयान। अपनी जॉब से बहोत खुश है। जो उसे जीने की उम्मीद दे रहा है। एक