दो कहानियां...

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कहानी कहानी - 1 मददभीड़भरी बस में एक बूढ़ी औरत चढ़ी। "अरे आप अंदर तो आइए मैं जगह कर दूंगा.." कण्डक्टर ने लगभग दबाते हुए उनको अंदर किया और पीछे खड़े लोगो पर दबाव डालते हुए फाटक बंद कर लिया। बस चल पड़ी। पास खड़े लोगो ने खीझ भरी नजरों से उसको देखा,, कुछ लोग धीरे धीरे कुछ नाराजगी भरे शब्द भी कहने लगे, "क्या जरूरत थी यार इसको बस में चढ़ाने की?" "पहले ही क्या कम भीड़ है जो इसको और चढ़ा लिया" कई लोग मुँह छिपाकर गन्दी गालियां भी दे रहे थे.. चेहरे पर असंतोष साफ झलक रहा रहा