आग और गीत - 11

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(11) “तो वह तीनों भी मार डाले गये ? ” राजेश ने पूछा । “यह मैं नहीं जानता ।” “तुम लोग यहां से कहा जाते ? ” “कुसुमित घाटी ।” “पहले भी कभी वहां गये हो ? ” “सैकड़ों बार ।” “क्यों ? ” “हम लोग उसे अपना केंद्र बनाना चाहते है ।” “मुझे भी वहां तक पहुंचा सकते हो ? ” “जरुर, मगर तुम्हारी वापसी न होगी, तुम वहां पहुचते ही क़त्ल कर दिये जाओगे ।” “मैं मौत से नहीं डरता ।” राजेश ने कहा “तुम अपनी कहो ।” “मैंने कहा तो कि मैं तुमको वहां पहुंचा दूँगा मगर