आग और गीत - 13

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(13) तमाम मामला राजेश के समझ में आ गया था मगर वह चुपचाप खड़ा रहा, फिर जब उस आदमी ने उस औरत का बाल पकड़ लिया और उसे अपने साथ ले जाने के लिये खींचने लगा तो उससे सहन न हो सका और उसने आड़ से निकलते हुये वहां की पहाड़ी भाषा में ललकारा । “खबर्दार ! औरत को छोड़ दे ! ” “भाग आओ नहीं तो मारे जाओगे ।” पुरुष ने कहा । उस आदमी ने भी स्थानीय भाषा ही में कहा था मगर उसका न तो स्वर स्थानीय लोगों जैसा था न उसकी भाषा ही वैसी थी ।