Fir Mulakat hogi book and story is written by Lalit Raj in Hindi . This story is getting good reader response on Matrubharti app and web since it is published free to read for all readers online. Fir Mulakat hogi is also popular in Love Stories in Hindi and it is receiving from online readers very fast. Signup now to get access to this story.
प्यार की ऐसी दास्तान जो अधुरी है मगर एक दूसरे का एहसास उन्हें जोड़े रखता है,वो चाहकर भी मिल न पाऐ फिर भी एक उम्मीद में है कि "फिर मुलाकात होगी"
राज और उसकी माँ जो सपना का इंतजार कर रहे थे अब वो खतम होगया था क्योंकि अब सपना आचुकी थी, सामने सपना को आते हुऐ देख राज ये सोचने लगता है कि माँ ने कहा था कि अगर ...Read Moreसाड़ी पहनकर आती है तो राज के लिऐ भी उसके दिल में कुछ है क्योंकि सपना साड़ी पहनकर आई थी।सपना अपने पिता के साथ आई थी और आकर राज के सामने खड़ी हो गई और राज की नजर सपना पर थी जो हट ही नही रही थी।माँ " राज , राज" दो बार कहा अब माँ बैठी हुई थी तो
राज अपने सपने से हैरान था, अचानक अपने सपने में काजल को ऐसी हालत में देखकर वह उसके लिये और चिंतित होने लगा, जहां वो तीन वर्ष से उसे ढूंढने में लगा था लेकिन उसका पता और निशान भी ...Read Moreनहीं मिला और सपने में उसका नजर आना उसकी फिक्र को और बढा देता है।अब सुबह हो चुकी थी, उसके रूम में किसी के खिड़की खोलने से धूप राज के चेहरे पर पढती और वह खिड़की की तरफ से आने वाले प्रकाश की ओर उसे देखने की कोसिस करता जिसने खिड़की खोली।तभी माँ खिड़की के पास खड़ी हुई थी और