Who Guilty ? book and story is written by sk hajee in Hindi . This story is getting good reader response on Matrubharti app and web since it is published free to read for all readers online. Who Guilty ? is also popular in Spiritual Stories in Hindi and it is receiving from online readers very fast. Signup now to get access to this story.
गुनाहगार कोन ? - Novels
by sk hajee
in
Hindi Spiritual Stories
आज हम कुछ ऐसे विषय पर बात बात, जानकारी लेंगे जो हम सब को इसके बारे मे जानना जरूरी है । भारत का एक मजहब जिसका एक पंथ जिसकी तस्वीर हमने सिर्फ अखबार,टेलीविजन और कुछ न्युज पोर्टलों पर देखी जो मेरे हिसाब से बिना रिसर्च के बिना ही अपनी और से भावना को जोडते हुए और साथ ही कुछ और लोगों तक पहुँचने के लिए या लोगों को अपने पास ही जोड़े रखने के लिए लोगों के भावना से किया गया खिलवाड़ था । जिसकी पुरी सच्चाई और उस पंथ का मकसद हम जानने की कोशिश करते है । तबलिगी
आज हम कुछ ऐसे विषय पर बात बात, जानकारी लेंगे जो हम सब को इसके बारे मे जानना जरूरी है । भारत का एक मजहब जिसका एक पंथ जिसकी तस्वीर हमने सिर्फ अखबार,टेलीविजन और कुछ न्युज पोर्टलों पर देखी ...Read Moreमेरे हिसाब से बिना रिसर्च के बिना ही अपनी और से भावना को जोडते हुए और साथ ही कुछ और लोगों तक पहुँचने के लिए या लोगों को अपने पास ही जोड़े रखने के लिए लोगों के भावना से किया गया खिलवाड़ था । जिसकी पुरी सच्चाई और उस पंथ का मकसद हम जानने की कोशिश करते है । तबलिगी
आशा करता हुं आपको गुनाहगार कोन ? का भाग एक जरूर पसंद आया होगा । चलो शुरूआत करते है इसके दुसरे भाग की जो इस पंथ/संगठन के कुछ मौलिक घटक की जानकारी लेंगे । हमे यह समझने मे आसानी ...Read Moreके आखिर यह तबलिगी जमात है क्या ? और क्या काम करती है हम इसे को समझने के लिए दो विभागों मे बाटेंगे, जिससे हमे समझने मे आसानी हो । 1) ■ तबलीग जमात (इस जमात के बारे मे विस्तृत जानकारी) 2) ■ मिडीया ट्रायल (क्या हमे जो सच था वह दिखाया गया ? 1) ● अब हम जानने की कोशिश
आशा है के गुनाहगार कोन ? इस धारावाहिक का दुसरा भाग आपको पसंद आया होगा । अभी हम इसके अगले भाग की तरफ बढ़ते है । सम्मेलन : इस समुह मे जो सम्मेलन होता है उसे इजतेमा या इस्तेमा ...Read Moreहै, जो हर साल छोटे-बड़े स्तर पर आयोजित किया जाता है । जो पुरे दुनिया से लेकर देश-राज्य-जिला-तालुका-सर्कल स्तर तक आयोजित होता है वह भी सरकार की परमिशन लेकर । इन बड़े सम्मेलनो मे लाखों की संख्या मे भीड एकजुट होती है जो प्रशासन पर दबाव ना आने देते हुए इसकी सारी जिम्मेदारी इस से जुड़े हुए स्वयंसेवक उठाते है,