तड़पता दिल - Novels
by Kishanlal Sharma
in
Hindi Adventure Stories
देवदास और डरदोनो ही फिल्मों मेंं प्यार के अलग अलग रूप देखने को मिलते है।इतिहास उठाकर देखे तो हमे प्यार के अलग अलग रूप ही देखने को मिलेंंगे।देेेवदास वाला और डर ...Read Moreदोनो प्यार देखनेे को मिलेगे।प्यार के दो रूप क्या होते है?एक प्यार वो होता है,जो दिल से किया जाता है।आत्मा की गहराई से किया जाता है।मन से किया जाता है।यह प्यार सच्चा होता हैं।प्रेमिका किन्ही कारणों से प्रेमी की नही हो पाती।वह किसी और कि हो जाती है।तो भी प्रेमी प्रेमिका आजीवन एक दूसरे को चाहते रहते है, प्यार करते रहते है।देखिए कहा कहा हैतन से
देवदास और डरदोनो ही फिल्मों मेंं प्यार के अलग अलग रूप देखने को मिलते है।इतिहास उठाकर देखे तो हमे प्यार के अलग अलग रूप ही देखने को मिलेंंगे।देेेवदास वाला और डर ...Read Moreदोनो प्यार देखनेे को मिलेगे।प्यार के दो रूप क्या होते है?एक प्यार वो होता है,जो दिल से किया जाता है।आत्मा की गहराई से किया जाता है।मन से किया जाता है।यह प्यार सच्चा होता हैं।प्रेमिका किन्ही कारणों से प्रेमी की नही हो पाती।वह किसी और कि हो जाती है।तो भी प्रेमी प्रेमिका आजीवन एक दूसरे को चाहते रहते है, प्यार करते रहते है।देखिए कहा कहा हैतन से
वे दोनों साथ खाते पीते।समय गुज़रने के साथ उनके सम्बन्ध प्रगाढ होने लगे।राजन,नज़मा को चाहने लगा।प्यार करने लगा।एक दिन वे पार्क के एकांत कोने मे बैठे बाटे कर रहे थे।राजन,नज़मा का हाथ अपने हाथ मे लेते हुए बोला,"नज़मा आई ...Read Moreयू।मुझे तुमसे प्यार ही गया है।""तुमने मेरे दिल की बात कह दी,"राजन के दिल की बात सुनकर नज़मा बोली,"राजन मैं भी तुम्हे चाहती हूं।तुमसे प्यार करती हूं"।"नज़मा,मैं अपने प्यार को स्थायी रूप देना चाहता हूँ।""कैसे?"नज़मा ने प्रश्नसूचक नज़रो से राजन को देखा था"तुम्हे हमेशा के लिए अपना बनाकर।तुमसे शादी करके।""सच"नज़मा खुशी मिश्रित आशचर्य से बोली थी।"मैं सच कह रहा हूं।तुमसे
नज़मा जब केवल चार साल की थी।तभी उसके अब्बा रमजान की सड़क दुर्घटना में मौत हो गई थी।उसकी माँ सुल्ताना जवान थी।उसके सामने अभी पूरा जीवसं पड़ा था।सुल्ताना के अब्बू और मम्मी ही नही दूसरे रिश्तेदार और परिचित भी ...Read Moreथे।वह फिर से निकाह कर ले।कुछ ने तो उसके सामने निकाह का प्रस्ताव भी रझा था।लेकिन सुल्ताना ने बेटी के भविष्य को ध्यान में रखकर निकाह करने से इनकार कर दिया।सुल्ताना शिक्षित महिला थी।उसने एक स्कूल मे नौकरी कर ली।शौहर के गुज़र जाने के बाद उसने अपना पूरा ध्यान बेटी के लालन पालन की तरफ लगा दिया।नज़मा अपनी माँ के