Sendha Namak by Sudha Trivedi | Read Hindi Best Novels and Download PDF Home Novels Hindi Novels सेंधा नमक - Novels Novels सेंधा नमक - Novels by Sudha Trivedi in Hindi Social Stories (49) 5.1k 9.4k 3 यह पहला ही मौका था वन्या के लिए जब किसी इतने बडे कार्यक्रम में जाने का उसे मौका मिल रहा था । फिल्मी स्टार, नामी राजनयिक - सभी आनेवाले थे इसमें । आमंत्रण बहुत मशहूर समाजसेविका डॉ.राजबाला की ओर ...Read Moreमिला था। वन्या कार्यक्रम में जाने के लिए बडी उत्सुक थी। यह वही राजबाला जी थीं, जिन्हें वह अकसर टी.वी कार्यक्रमों की बहसों में देखती सुनती आई थी । स्त्री हितों के लिए लडनेवाली स्त्रियों में उनका नाम एक मिसाल के तौर पर पेश किया जाता था। आज उन्हीं के आमंत्रण को देखकर वह अति उत्साह में उछल पडी। कोई जाए न जाए, वह तो इस कार्यक्रम में जरूर जाएगी। Read Full Story Download on Mobile Full Novel सेंधा नमक - 1 1.6k 3.1k सेंधा नमक सुधा त्रिवेदी (1) यह पहला ही मौका था वन्या के लिए जब किसी इतने बडे कार्यक्रम में जाने का उसे मौका मिल रहा था । फिल्मी स्टार, नामी राजनयिक - सभी आनेवाले थे इसमें । आमंत्रण बहुत ...Read Moreसमाजसेविका डॉ.राजबाला की ओर से मिला था। वन्या कार्यक्रम में जान Read सेंधा नमक - 2 982 1.6k सेंधा नमक सुधा त्रिवेदी (2) जिस दिन मां को आना था, उससे एक दिन पहले ही साहिल को एकाएक ऑफिस के काम से मुंबई जाना पड गया। सब कुछ वन्या को समझाकर वह भारी मन से मुबई गया । ...Read Moreको ही सासुरानी को लेने एयरपोर्ट जाना पडा । फ्लाइट शाम में पहुंचनेवाली थी। आगे और जाने कितनी छुटिटयां लेनी पडें, यह सोचकर वन्या ने उस दिन ऑफिस से छुटटी नहीं ली । परमीशन डालकर जल्दी से एयरपोर्ट के लिए निकल गई। सासुरानी पहली बार पधार रही हैं। कमाउ सरदारनी बहू भी अच्छी बहू होती है, वह यह बात साबित Read सेंधा नमक - 3 910 1.7k सेंधा नमक सुधा त्रिवेदी (3) अगली सुबह सासरानी को लेकर वन्या को नेत्रालय जाना था। उसके पिता नेत्रालय के सीनियर डॉक्टर, डॉ.सुजीत अरोडा को जानते थे । वन्या ने अपने पिता से कहलवा कर सासुरानी के लिए ‘अप्वाइंटमेंट’ ले ...Read Moreथी। वन्या के ऑफिस में आज लंदन से सुपरवाइजरी टीम आ रही थी और उसका आज ऑफिस जाना अत्यावश्यक था, पर साहिल के शहर से बाहर होने के कारण उसके पास सासरानी को नेत्रालय ले जाने के अलावा कोई चारा न था। उसने रजिल को सारी बात समझाकर सुबह की पारी की छुट्टी ले ली और दोपहर बाद आने का Read सेंधा नमक - 4 881 1.8k सेंधा नमक सुधा त्रिवेदी (4) माताजी के वापस चले जाने के दो-तीन दिन बाद की बात है। सुबह-ही-सुबह माताजी ने फोन करके साहिल को खूब चाभी घुमाई और वह सुबह से ही मुंह फुलाए बैठा रहा। घर का माहौल ...Read Moreभारी हो आया था। इसीलिए अपने मन को हल्का करने के लिए वन्या ने राजबाला जी को फोन किया। राजबाला जी ने बहुत स्नेह से उसे डाडस बंधाया कि पति पत्नी में कभी-कभार इस तरह के मनमुटाव हो जाया करते हैं। ऐसे समय में घबराने या अकडने से बात बिगड सकती है। धैर्य और स्नेह से ही बात दुबारा बनाई Read सेंधा नमक - 5 - अंतिम भाग (20) 685 1.2k सेंधा नमक सुधा त्रिवेदी (5) रवि की गवाही पर राजबाला जी को गिरफ्तार किया गया है और फिर तो इंवेस्टिगेशन के बाद राज खुलते गए उन तमाम लडकियों के, जिनके साथ अपनेपन का दिखावा करके वे उन्हें होटलों में ...Read Moreका काम कर चुकी थीं। कई इस गर्त में एक बार गिरीं तो दुब Read More Interesting Options Hindi Short Stories Hindi Spiritual Stories Hindi Novel Episodes Hindi Motivational Stories Hindi Classic Stories Hindi Children Stories Hindi Humour stories Hindi Magazine Hindi Poems Hindi Travel stories Hindi Women Focused Hindi Drama Hindi Love Stories Hindi Detective stories Hindi Social Stories Hindi Adventure Stories Hindi Human Science Hindi Philosophy Hindi Health Hindi Biography Hindi Cooking Recipe Hindi Letter Hindi Horror Stories Hindi Film Reviews Hindi Mythological Stories Hindi Book Reviews Hindi Thriller Hindi Science-Fiction Hindi Business Hindi Sports Hindi Animals Hindi Astrology Hindi Science Hindi Anything Sudha Trivedi Follow