Kaisa ye ishq hai by Apoorva Singh | Read Hindi Best Novels and Download PDF Home Novels Hindi Novels कैसा ये इश्क़ है.... - Novels Novels कैसा ये इश्क़ है.... - Novels by Apoorva Singh in Hindi Novel Episodes (146) 13.9k 25.8k 11 लखनऊ नवाबों की नगरी है मियां यहाँ के जर्रे जर्रे मे तहजीब और नजाकत बसी हुई है।यहाँ की तहजीब के किस्से इतने सुनाये जाते है तो सोचिये जनाब तहजीब और नजाकत के इस खूबसूरत शहर मे इश्क़ के कितने ...Read Moreसुनाये जाते होंगे।इश्क़ की कितनी ही कहनियो ने इस शहर मे रुहानियत को जिया होगा कितने ही किस्सो ने इस शहर की फिजाओ को अपने प्रेम की महक से महकाया होगा।यहाँ के तो इश्क़ मे भी तह्जीब और नजाकत की झलक ही देखने को मिलती है।वो इश्क़ जो हमे इस दुनिया से उस दुनिया मे ले जाता है जिसे Read Full Story Download on Mobile New Episodes : Every Friday कैसा ये इश्क़ है....( भाग 1) 2.9k 4.2k लखनऊ नवाबों की नगरी है मियां यहाँ के जर्रे जर्रे मे तहजीब और नजाकत बसी हुई है।यहाँ की तहजीब के किस्से इतने सुनाये जाते है तो सोचिये जनाब तहजीब और नजाकत के इस खूबसूरत शहर मे इश्क़ के कितने ...Read Moreसुनाये जाते होंगे।इश्क़ की कितनी ही कहनियो ने इस शहर मे रुहानियत को जिया होगा कितने ही किस्सो ने इस शहर की फिजाओ को अपने प्रेम की महक से महकाया होगा।यहाँ के तो इश्क़ मे भी तह्जीब और नजाकत की झलक ही देखने को मिलती है।वो इश्क़ जो हमे इस दुनिया से उस दुनिया मे ले जाता है जिसे Listen Read कैसा ये इश्क़ है ....(भाग 2) 1.5k 2.2k अर्पिता उसकी तरफ देखती है।न जाने क्या दिखता है उसे उस चेहरे में कि वो उसकी तरफ खिंचती चली जाती है। सुनिए...कहां खोई है आप अर्पिता को अपनी तरफ यूं देखता पाकर वो उससे दोबारा कहता है। अ ... ...Read Moreअर्पिता ने हड़बड़ाते हुए कहा। आपका दुपट्टा! ये मेरे हाथो पर। प्लीज़ हटाइए इसे।उस लड़के ने बड़ी शालीनता से कहा। स...स.सॉरी!अर्पिता ने कहा और वो अपना दुपट्टा सम्हाल लेती है। लड़का मुड़कर वापस से अपने कार्य में लग जाता है। अर्पिता उसे एक पल को देखती है और वापस से बुक पढ़ने में लग जाती है। उसके मन में अभी Listen Read कैसा ये इश्क़ है ....(भाग 3) 1.1k 2.1k किरण और अर्पिता दोनों ही घर के लिए निकलती है। कुछ ही देर में दोनों घर पहुंच जाती है।जहां बीना दोनों का इंतजार कर रही होती है। आ गई दोनों।मै कब से राह देख रही थी।बीना ने चिंतित होते ...Read Moreदोनों से कहा। वो मासी अब मॉल में गए थे शॉपिंग के लिए तो समय तो लगना ही है।आप चिंता न किया करे अगर फिर भी मन नहीं माने न तो बस एक फोन कॉल और आपको हमारी पूरी खबर मिल जाएगी।जिससे आपकी चिंता कम हो जाएगी।अर्पिता ने बीना के गले लगते हुए कहा। हां अर्पिता ये बात तो मै Listen Read कैसा ये इश्क़ है....? (भाग -4) 930 1.5k उन्हे बेवजह हंसते हुए जवाब देते देख अर्पिता उनसे कहती है...।लगता है टेलीविजन पर वो क्लोज अप वाला एड बहुत देखते हो।तभी बिना वजह दांत निकल आते है।बात तो सुनाई पड़ती नहीं बस दांत ही दांत दिखते है वो ...Read Moreपीले पीले। अर्पिता की बात सुन कक्षा में मौजूद बाकी लड़कियों की हंसी छूट पड़ती है।और उन लडको की बत्तीसी मुंह के अंदर ही दुबक जाती है। फिर भी उनमें से एक हिम्मत कर कहता है।बहुत बोल रही हो इतने सब लोगो के सामने हमारी बेइज्जती कर दी बहुत महंगा पड़ेगा तुम्हे। उसकी बात सुन कर अर्पिता सभी लड़कियों की Listen Read कैसा ये इश्क़ है.... ? (भाग 5) 687 1.3k अर्पिता तुम बताओ तुम्हारी फ़ैमिली में कौन कौन है? मुझे भी तो पता चले।आखिर इतनी बोल्ड लड़की को कौन कौन झेलता है घर में।श्रुति मुस्कुराते हुए कहती है। हमारे घर में यहां पर तो मासी, मौसा जी,उनके दो बच्चे ...Read Moreदादी इतने सब है। ओह तो तुम यहां लखनऊ में अपने मौसा मौसी के साथ रहती हो। हां जी।अर्पिता ने कहा।तभी श्रुति का फोन बजता है जो उसके घर से होता है।अर्पिता घर से फोन है मै तुमसे बाद में बात करती हूं ठीक है। ओके श्रुति! नो प्रॉब्लम।तुम आराम से बात कर लो।हम यहीं पढ़ते है तुम बात कर Listen Read कैसा ये इश्क़ है.... - (भाग 6) 525 990 आरव,किरन और अर्पिता तीनों हेमंत जी की बाइक लेकर कॉलेज के लिए निकलते हैं।आधे रास्ते में पहुंचते ही है कि बाइक ही पंक्चर हो जाती है। ओह गॉड! इसे भी अभी खराब होना था।पांच मिनट और रुक जाती तो ...Read Moreसभी कॉलेज कैंपस में होते। किरण अधीर होकर कहती है। उसकी अधीरता देख अर्पिता उसके सर पर चपत लगाते हुए कहती है ज्यादा अधीर न हो।शुक्र है कि हम सब आधा रास्ते से आगे पहुंच चुके है। कॉलेज अभी ज्यादा दूर नहीं है थोड़ा पैदल चलेंगे न तो पहुंच भी जाएंगे। हम सो तो है।किरण ने कहा। अच्छी बात है Listen Read कैसा ये इश्क़ है.... - (भाग 7) 474 930 अर्पिता आवाज़ की तरफ मुड़ती है तो सात्विक को देखउससे कहती है। शुक्रिया आपका। सात्विक - अरे आप इतनी सी बात के लिए शुक्रिया कहेंगी। अर्पिता - जी।इतनी सी बात तो नहीं है ये।अब आपने तारीफ की है तो ...Read Moreकहना तो मुनासिब है हमारा। अमा यार अर्पिता जी। इस हिसाब से तो ये शब्द आपको कई बार दोहराना पड़ेगा।सात्विक मुस्कुराते हुए अर्पिता से कहता है। सात्विक की बात सुन अर्पिता कहती है सात्विक जी आप की बात का तात्पर्य हम कुछ समझे नहीं।क्या आप समझाएंगे? मैंने ऐसा कुछ विशेष तो कहा नहीं जो आपको समझ में नहीं आया। बस Listen Read कैसा ये इश्क़ है.... - (भाग 8) 420 816 अर्पिता किरण और आरव के पास आ जाती है और उनके साथ कुछ देर बैठ कर एंज्वॉय करती है।वहीं अर्पिता से कुछ ही दूरी पर सात्विक भी मौजूद होता है जिसका ध्यान प्रोग्राम में हो रही प्रस्तुति पर न ...Read Moreअर्पिता पर होता है। सात्विक जानबूझ कर अर्पिता से थोड़ी दूरी पर बैठा है जिससे कि वो मन भर अर्पिता को निहार सके। ***पहले प्यार की कहानियां शुरू हो चुकी है।अर्पिता और सात्विक दोनों का ही ये पहली नज़र वाला प्रेम है।वहीं प्रशांत जी वो अभी तक इन एहसासों से अनजान एक गंभीर लेकिन हालातो के अनुसार ढलने वाले व्यक्तित्व Listen Read कैसा ये इश्क़ है.... - (भाग - 9) 405 717 प्रशांत जी ने जो अभी कहा उसे सोच कर ही अर्पिता के चेहरे पर मुस्कुराहट आ जाती है।जिसे श्रुति देख लेती है।श्रुति अर्पिता के पास जाती है और उससे धीरे से कहती है।"अर्पिता "यूं बिना वज़ह चेहरे पर मुस्कुराहट ...Read Moreरहना कोई साधारण बात नहीं होती।सम्हल कर रहना। जिस रास्ते पर तुम बढ़ रही हो उसके रास्ते टेढ़े मेढे तो है ही, साथ ही फिसलन भरे भी है।जरा सा भी ध्यान हटने पर दुर्घटना घटित होने का अंदेशा रहता है।श्रुति की बात सुन अर्पिता श्रुति के सामने आती है और उससे कहती है श्रुति तुम क्या कह रही हो मै Listen Read कैसा ये इश्क़ है.... - (भाग 10) 399 831 सात्विक श्रुति और अर्पिता तीनों ऑटो में बैठ कर निकल जाते है।अर्पिता हाथ में बांधी हुई घड़ी पर नज़रें गढ़ाती है और ड्राईवर से ऑटो तेज चलाने को कहती है। कुछ ही देर में ऑटो उसे आलमबाग के टेंपो ...Read Moreपर पहुंचा देता है।अर्पिता जल्दी में होती है सो ऑटो चालक को बिन देखे पैसे पकड़ा कर घर के लिए कदम बढ़ा देती है। दो बज चुके है।धूप भी तेज हो रही है।मासी हमारा इंतजार कर रही होंगी और हम अभी तक घर नहीं पहुंचे।उन्हें फोन कर बता देती हूं।ओह गॉड फोन.. उन सब झमेलों में हमें फोन का ख्याल Listen Read कैसा ये इश्क़ है.... - (भाग - 11) 369 717 प्रशांत की आवाज सुन कर अर्पिता के चेहरे पर एक प्यारी सी मुस्कान खिल जाती है।वो तुरंत ही पीछे मुड़ती है और धीरे से कहती है, आप आ गये प्रशांत जी। प्रशांत सफेद शर्ट काली पैंट पहने होठों पर ...Read Moreरखे चलता चला आ रहा हैं।उनके पीछे परम और श्रुति भी चले आ रहे हैं। प्रशांत को देख अर्पिता के मुख से जगजीत जी की गाई गजल के बोल निकल पड़ते हैं।जो वो हौले हौले गुनगुनाने लगती है – तुमको देखा तो ये ख्याल आया। तुमको देखा तो ये ख्याल आया। जिंदगी धूप तुम घना साया।धीमी आवाज मे गाने पर Listen Read कैसा ये इश्क़ है.... - (भाग 12) 366 735 जब जब मैं मिलता हूँ तुमसे !! तुम मुझे बिल्कुल अलग सी लगती हो !! कभी नये से रंग में दिखती हो तो कभी नये से ढंग में मिलती हो॥ कुछ तो बात है मिस अर्पिता तुम में।कहते हुए ...Read Moreवापस हॉल में आ जाता है।चित्रा प्रशांत श्रुति और परम ये चारों ही मूवी का आनंद लेने लगते हैं। वहीं उसी मॉल के दूसरे हिस्से में अर्पिता किरण बीना जी के पास पहुंचती है।बीनाजी दोनो को वहां देख उनसे पूछ्ती है , “ अरे तुम दोनो अपनी शॉपिंग कर आ गयी”। अपनी मां की बात सुन कर किरण अर्पिता से Listen Read कैसा ये इश्क़ है.... - (भाग - 13) 396 816 भाग 13 वहीं अर्पिता किरण के कमरे में है और उससे बातचीत कर रही है। अर्पिता – किरण क्या हो गया था तुम्हे तुम मौसा जी से बातचीत क्यू नही कर रही थी।मौसा जी तुमसे बात करने आये ...Read Moreक्यूं चुप रही थी तुम्। बोलो अब जवाब दो। अर्पिता हर बार यही होता है पिछली बार भी अचानक से आकर बोल दिया कि जाओ किरण नीचे तुम्हे देखने लड़के वाले आए है यार ये क्या बात हुई भला। अर्पिता इंसान हूँ मै कोइ खिलोना नही जिसके अंदर कोई भावना नही होती है।मेरे अंदर भावनाये है। किसी भी लड़की को Listen Read कैसा ये इश्क़ है.... - (भाग 14) 312 696 अरे वाह किरण बहुत सुंदर लग रही हो। सादगी में भी जंच रही हो। अर्पिता ने किरण से कहा।जिसे सुन किरण मुस्कुरा भर देती है।और बोलती है तो अब जाकर तुम्हे टाइम मिला यहाँ आने का।वैसे तुम ये बता ...Read Moreसबसे मिल कर आई हो न कौन कौन आया है यहाँ। और वो नमूना भी आया है क्या बता न्। अरे दादा सुबह तक तो मूड इतना खराब कि मौसा जी से बात तक नही की और अब देखो इतनी बैचेनी कि मिलने से पहले ही सब कुछ जान लेना चाहती हो। वैसे एक बात कहे वो जो नीचे आये Listen Read कैसा ये इश्क़ है.... - (भाग 15) 348 978 भाग –15 “प्रशांत जी आप” कहते हुए वो अपने पीछे मुड़ कर खड़ी हो जाती है।अर्पिता की बच्ची।क्या क्या कहा था तुमने तब जाकर मै तैयार हुई थी और मैडम जी देख कर किसे गयी “बीरबल की खिचड़ी” को।क्या ...Read Moreरही हो तुम नीचे आकर, क्या मुझसे बच जाओगी हाँ...। अरे वो बीरबल की खिचड़ी न तुम्हे ही मुबारक हो॥किरण नीचे आकर अर्पिता के पास खड़े होकर कहती है उसे इतना बोलता देख अर्पिता अपने होठों पर अंगुली रख चुप रहने का इशारा करती है। काहे काहे चुप रहूं मैं।ये सब न तेरी वजह से हुआ है। किरण ने तमतमाते Listen Read कैसा ये इश्क़ है.... - (भाग 16) 312 666 आज न जाने कैसी खामोशी का एहसास हो रहा है हमें जैसे कि कहीं कुछ सही नही है।आज श्रुति सात्विक भी नही दिखे हमें आये नही है क्या अब तक। या हम ही लेट हो गये हैं समय तो ...Read Moreजरा, कितना बज रहा है सोचते हुए अर्पिता अपने को ब्लिक कर उसमे समय देखती है तो सुबह के दस बज रहे हैं। हम ही लेट हो चुके हैं पांच मिनट।दोनो क्लास में होगे।नाराज होंगे तभी यहाँ नही रुके हैं नही तो ऐसा कभी नही हुआ कि अगर हम में से कोई नही आया तो उसके बिना क्लास में चला Listen Read कैसा ये इश्क़ है.... - (भाग 17) 279 684 इन सभी बातों में वो उन पांचो की कही हुई बात भूल जाती है कि तुम्हारे लिये भी कुछ सोचा है अर्पिता बस अब शाम तक इंतजार करना है...। अर्पिता कॉलेज से बाहर नही जा पाती है कि तभी ...Read Moreसामने कुछ और छात्र आकर खड़े हो जाते हैं।और उससे बेहद अभद्र तरीके से कहते हैं, “ हम सब ने सुना है कि आप जोड़िया बनवाती है हमारी भी किसी के साथ बनवा दीजिये” कह कर सभी चुप हो जाते हैं।उन सब की बात सुन कर अर्पिता उनसे कहती है और ये बात आप सब को उन पांचो ने कही Listen Read कैसा ये इश्क़ है.... - (भाग 18) 261 600 अर्पिता कुछ देर शांत रहती है जब उस लड़की की बाते खत्म हो जाती है तब अर्पिता कहती है.. माना कि आपके लिये इस बात को स्वीकार करना थोड़ा मुश्किल है लेकिन आप स्वयं ही सोचिये अपनी दोस्त की ...Read Moreतस्वीर लेकर हम आपके पास ही क्यूं आये अगर आपके भाई ने ऐसा नही किया होता तो हमे यहाँ आने की क्या आवश्यकता पड़ गयी।हम आपके पास इसीलिये आये है क्यूंकि आप भी एक लड़की है और श्रुति की परेशानी को आप भी बेहतर तरीके से समझ सकती है।आपके लिये यकीन करना थोड़ा मुश्किल है लेकिन यही सच है। Listen Read कैसा ये इश्क़ है.... - (भाग 19) 264 585 भाग 19 शैव्या- हाँ भाई।ये इनका ही प्लान था कि मै इनका साथ दूं। पहले तो मुझे यकीन नही था लेकिन जब इन्होने मुझे सारी बातें बताई तब मै सच का पता लगाने के लिये इनके साथ यहाँ ...Read Moreगयी।भाई इतनी गलत हरकत कैसे कर गये आप्।ये बात तो मै जानती हूँ कि आपको गुस्सा बहुत जल्दी आता है और अगर कोई आपकी बात काटे तो आपको वो पसंद भी नही है।लेकिन भाई इन्होने गलत क्या कहा आप ही बताइये अगर आप किसी से गलत बात बोलोगे तो आपको कोई फुलोकी माला थोड़े ही पहनायेगा बल्कि जुते ही तो Listen Read कैसा ये इश्क़ है.... - (भाग 20) 267 516 राधिका अर्पिता की आवाज सुन लेती है और मुड़ कर पीछे देखती है तो प्रशांत जी को पाती है जिसे देख वो अर्पिता से मुस्कुराते हुए कहती है जी वो यहाँ मीटिंग के लिये आये है।अब इनकी मीटींग इन्ही ...Read Moreतरह निराली ही होती है। राधिका की बात सुन कर अर्पिता मुस्कुरा भर देती है।राधिका का फोन रिंग होता है तो वो अभी आने का कह वहाँ से उठ कर चली जाती है।राधिका के जाने के बाद श्रुति अर्पिता से कहती है ये हमेशा ऐसे ही व्यस्त रहती हैं हर पांच सात मिनट मे इनका फोन बजता ही रहता है।कभी Listen Read कैसा ये इश्क़ है.... - (भाग 21) 261 597 प्रशांत जी परम के पास जाते हैं।और वो दोनों वहां से मॉल के अंदर चले जाते है।उस जगह जहां फन कॉर्नर होता है।दोनों जाकर वहीं मस्ती करने लगते हैं।उधर अर्पिता और श्रुति दोनों ही मॉल घूमने लगती है।कपड़े ज्वेलरी ...Read Moreअपनी पसन्द की खरीद लेती है। परम प्रशांत को लेकर वहां से चला आता है और वो भी अपने मतलब का कुछ न कुछ देखने लगता है।अर्पिता अपने लिए एक कलरफुल और दो सादा दुपट्टा ढूंढ़ती है।जो बड़ी मुश्किल से उसे मिलते है।मुश्किल क्या अब कोई चीज मन की भी तो मिलनी चाहिए न।इसीलिए अर्पिता को भी थोड़ा समय लग Listen Read कैसा ये इश्क़ है.... - (भाग 22) 264 549 अर्पिता और प्रशांत दोनों ही अपने शुरू हुए राब्ता को एहसासों के जरिए जी रहे है।अर्पिता अपने कमरे में इस गाने पर प्रशांत जी के साथ कल्पना लोक में कपल डांस कर रही है।वहीं प्रशांत जी गिटार ट्यून करते ...Read Moreगुनगुनाते है।गुनगुनाते हुए उन्हें आभास होता है जैसे अर्पिता वहीं उनके सामने ही है।छात्रों के बीच में बैठ मुस्कुराते हुए तालियों के साथ उस गाने को एंज्वॉय कर रही है। कुछ तो है तुझसे राब्ता.. कुछ तो है तुझसे राब्ता.. कैसे हम जाने हमे क्या पता..! गाते हुए प्रशांत जी अपना गिटार रखते है तो सभी लर्नर खड़े होते हुए Listen Read कैसा ये इश्क़ है.... - (भाग 23) 276 546 वो सभी अर्पिता को लेकर निकल जाते हैं।अर्पिता वेन में बेहोश पड़ी हुई होती है। उधर अपने ऑफिस के केबिन में बैठ कर लंच करते हुए प्रशांत जी की आंखो के सामने अचानक से अर्पिता का चेहरा आ जाता ...Read Moreमुंह से अचानक ही अर्पिता का नाम निकलता है और वो निवाला छोड़ कर टिफिन बंद कर रख देते हैं। हाथ धुल कर खड़े हो मन ही मन कहते है ये इश्क की राहें आसान नहीं है। कही खुशी तो कही आंखो में नमी है। उनके एक ख्याल से उड़ जाता है चैन यहां। उधर हजरतगंज के एक रेस्टोरेंट में Listen Read कैसा ये इश्क़ है.... - (भाग 24) 234 585 अर्पिता उसे सामने देख एक पल को तो हड़बड़ा जाती है।उसके आगे कदम बढ़ाने के साथ साथ वो अपने कदम पीछे बढ़ाती जाती है।ओह गॉड, अब क्या करे कैसे यहाँ से निकले।।कुछ समझ में नही आ रहा है।कुछ समझ ...Read Moreआ रहा है यो इससे अच्छा है यहां से भाग लिया जाये।सोचते हुए अर्पिता आगे पीछे दाएं बाये देखती है और वहां से एक तरफ भाग जाती है। अरे कहां भागी जा रही हो रुको.. कहते हुए वो भी उसके पीछे दौड़ जाता है।पूरे गोडाऊन का चक्कर लगाते हुए अर्पिता एक टूटी पड़ी बेंच के पास जाकर खड़ी हो जाती Listen Read कैसा ये इश्क़ है.... - (भाग 25) 180 456 अर्पिता किरण के इस व्यवहार को इग्नोर कर देती है।वो दोबारा उठ कर किरण के पास जाती है और उसे दोबारा से गले लगा लेती है।किरण और अर्पिता दोनो बहने जार जार चीखते चिल्लाते हुए जोर से रोने लगती ...Read Moreकरुण क्रन्दन की गूंज पूरे घर में गूंजने लगती है।आरव भी आकर पीछे से उन दोनों के गले लग जाता है।हेमंत जी बच्चों को इस तरह रोता बिलखता परेशान देख आकर उनके पास बैठ जाते है।दया जी की अर्पिता की मां उसके पिताजी सभी रोने लगते हैं। गुजरते समय के साथ सभी सम्हलते जाते है।हेमंत जी दया जी आरव सभी Listen Read कैसा ये इश्क़ है.... - (भाग 26) 135 402 अर्पिता की नजर खंभे के पास खड़े एक शख्स पर पड़ती है।एक क्षण को तो वो चौंक जाती है।अपनी आंखें और फैलाती है देखती है और धीरे से कहती है प्रशांत जी यहां!! इतनी सुबह सुबह कैसे? कहीं ये ...Read Moreवहम तो नही है।बहम ही होगा।नही तो इतनी सुबह सुबह प्रशांत जी यहां क्या करेंगे।।खंभे के पास खड़ा शख्स हल्का सा मुस्कुराता है।उसे मुस्कुराते देख अर्पिता कुछ क्षण उसे देखती रह जाती है। हेल्लो!! आगे बढिए टिकट लीजिये!! हेल्लो!! अरे कहाँ खोई है आप।।सुनिए ..! अर्पिता को अपने कंधे पर किसी का हाथ रखा हुआ महसूस होता है।वो चौंकते हुए Listen Read More Interesting Options Hindi Short Stories Hindi Spiritual Stories Hindi Novel Episodes Hindi Motivational Stories Hindi Classic Stories Hindi Children Stories Hindi Humour stories Hindi Magazine Hindi Poems Hindi Travel stories Hindi Women Focused Hindi Drama Hindi Love Stories Hindi Detective stories Hindi Social Stories Hindi Adventure Stories Hindi Human Science Hindi Philosophy Hindi Health Hindi Biography Hindi Cooking Recipe Hindi Letter Hindi Horror Stories Hindi Film Reviews Hindi Mythological Stories Hindi Book Reviews Hindi Thriller Hindi Science-Fiction Hindi Business Hindi Sports Hindi Animals Hindi Astrology Hindi Science Hindi Anything Apoorva Singh Follow