Noukrani ki Beti book and story is written by RACHNA ROY in Hindi . This story is getting good reader response on Matrubharti app and web since it is published free to read for all readers online. Noukrani ki Beti is also popular in Human Science in Hindi and it is receiving from online readers very fast. Signup now to get access to this story.
नौकरानी की बेटी - Novels
by RACHNA ROY
in
Hindi Human Science
ये किताब मैं मेरी मां स्वर्गीय श्रीमती अनिमा भट्टाचार्या को समर्पित करती हुं।
राजू दसवीं में पढ़ता था और सबका बहुत ही दुलारा था।राजू को किसी तरह की कोई कमी नहीं थी। उसके घर में दो काम करने वाले थे एक था दिनेश काका दूसरी कृष्णा वाई। कृष्णा वाई की एक बेटी थी आनंदी जैसा नाम वैसा काम। बहुत ही खूबसूरत, खुश मिजाज वाली लड़की थी आनंदी। राजू आनंदी को अपनी छोटी बहन जैसा मानता था। राजू में ये खास बात थी कि काम करने वाले को कभी नौकरानी नहीं मानता था।
कृष्णा वाई आनंदी को काम पर लाती थी क्योंकि राजू का बंगला काफी बड़ा था। आनंदी को पढ़ने लिखने का बड़ा शौक था पर ग़रीब होने की वजह से वह अपनी पढ़ाई पूरी ना कर सकी । आनंदी सातवीं कक्षा तक पढ़ी थी और हर विषय में अव्वल दर्जे का नम्बर आया था।
ये किताब मैं मेरी मां स्वर्गीय श्रीमती अनिमा भट्टाचार्या को समर्पित करती हुं।
राजू दसवीं में पढ़ता था और सबका बहुत ही दुलारा था।राजू को किसी तरह की कोई कमी नहीं थी। उसके घर में दो काम करने वाले थे ...Read Moreथा दिनेश काका दूसरी कृष्णा वाई। कृष्णा वाई की एक बेटी थी आनंदी जैसा नाम वैसा काम। बहुत ही खूबसूरत, खुश मिजाज वाली लड़की थी आनंदी। राजू आनंदी को अपनी छोटी बहन जैसा मानता था। राजू में ये खास बात थी कि काम करने वाले को कभी नौकरानी नहीं मानता था।कृष्णा वाई आनंदी को काम पर लाती थी क्योंकि राजू का बंगला काफी बड़ा था। आनंदी को पढ़ने लिखने का बड़ा शौक
नौकरानी की बेटी भाग एक में आपने पढ़ा था कि आनंदी के लिए खुशखबरी लाई थी उसकी मां -अब आगे।आनंदी ये सुनकर कर खुशी से झूम उठी और बोली मां मुझे पुरा यकीन था कि रीतू दीदी की वजह ...Read Moreमैं आगे पढ पाऊंगी। कुछ बन जाऊंगी । तुमको फिर ये सब काम नहीं करना होगा मां। कृष्णा बोली हां मुझे गर्व है तुम पर। अच्छा अब कुछ खा ले सुबह से कुछ नहीं खाया तुमने। फिर मां बेटी खाना खाते हैं और फिर सो जाते हैं। कुछ देर बाद कृष्णा का मोबाइल फोन बजता है । आनंदी जल्दी से फोन
नौकरानी की बेटी भाग दो मे आपने पढ़ा था कि आनंदी बोली हां दीदी सब तैयारी हो चुकी है। अब आगे।आनंदी मन में मुस्कुरा रही थी कि अब रविवार आने वाला है बस, और तभी अनु बोली आनंदी क्या ...Read Moreपहुंच गई हो लंदन।। आनंदी घबरा कर बोली अरे नहीं मैम।। रीतू बोली आनंदी चल जल्दी से तुझे कुछ दिखाती हुं। आनंदी ने कहा हां, दीदी आप जाओ मैं आती हूं। फिर आनंदी रसोई घर में सारा काम करने लगी और फिर बोली कि मां अब तो रविवार आने वाला है और मैं तो लंदन चली जाऊंगी। कृष्णा ने कहा
नौकरानी की बेटी भाग तीन में आपने पढ़ा कि कृष्णा बोली जल्दी से समोसे जलेबी बनाती हुं अब आगे।।कृष्णा ने जल्दी से आलू उबालने कुकर में दे दिया और जलेबी बनाने के लिए बेसन फेट कर चासनी तैयार कर ...Read Moreऔर समोसे के लिए मैदा गुथने लगी, आलू का मसाला भी तैयार हो गया।बाहर टेबल पर रीतू पहुंच कर बोली अरे कृष्णा वाई के समोसे जलेबी की खुशबू मुझे यहां तक खींच लाई। आनंदी हंस कर बोली हां दीदी बस दो मिनट में लाती हुं। रीतू ने कहा सुन नाश्ता करके हमें फोटो गैलरी जाना होगा तेरा फोटो खिंचवाने। आनंदी बोली
नौकरानी की बेटी भाग चार में पढ़ा था कि आनंदी हवाई जहाज में सवार होकर उड़ान भरने को तैयार थी और अब आगे।।। रीतू बोली आनंदी पहले अपना फोन को एयरप्लेन मोड़ पर रखना होगा, सीट बेल्ट लगा लो ...Read Moreहां अगर कुछ भी जरूरत हो तो एयर होस्टेस को बेल बजा कर बोलोगी, और ये देखो ऊपर लगे दो बेल एक एसी को कंट्रोल करने के लिए है और दूसरी एयरहोस्टेस को बुलाने के लिए।आनंदी बोली अरे वाह दीदी ये तो बहुत अच्छा है, क्या मैं अभी ट्राई करूं? आनंदी ने बेल बजा कर रुक गई। तभी एक लड़की आकर बोली