Fifty Shades of Gray - 3 in Hindi Motivational Stories by Makvana Bhavek books and stories PDF | फिफ्टी शेड्स ऑफ़ ग्रे - 3

Featured Books
Categories
Share

फिफ्टी शेड्स ऑफ़ ग्रे - 3

 

वह मुझ पर ऐसा असर क्यों छोड़ रहा है? हो सकता है कि वह काफी सुंदर है या फिर उसके देखने का अंदाज़ या फिर निचले होंठ पर अंगुली से टहोका देने की अदा । काश वह ऐसा न करता।

"वैसे भी जब आप मान कर चलते हैं कि आपमें नियंत्रण की क्षमता है तो अपने-आप बल आ जाता है।"

"क्या आपको लगता है कि आपके पास असीम बल है?" मैंने पूछा

"मिस स्टील! मैं चालीस हजार से अधिक लोगों को रोजगार देता हूं। इससे मुझे एक तरह की ज़िम्मेदारी और ताकत का एहसास होता है। अगर मैं तय कर लेता कि मैं टेलीकम्यूनिकेशंस के काम को बेच दूं तो उसी समय बीस हजार लोग अपने अगले महीने की किस्तें चुकाने के लिए सोच में पड़ जाते ।"

मेरा मुंह खुला का खुला रह गया। मैं उसकी सपाटबयानी से दंग थी।

"क्या आपको बोर्ड को जवाब न देना पड़ता ।" मैंने भी हिम्मत नहीं हारी।

"मैं अपनी कंपनी का मालिक हूं। मुझे किसी बोर्ड को जवाब नहीं देना होता।" उसने मुझे तिरछी नजर से देखा। बेशक अगर मैंने थोड़ी खोजबीन रखी होती, तो ये बात मुझे पता होती । पर ये आदमी बड़ा घमंडी है। मैंने बात बदली।

"क्या काम के अलावा भी आपकी कोई रुचियां हैं?"

"मिस स्टील मेरी रुचियां कई तरह की हैं, बहुत अलग तरह की ! " पता नहीं क्यों ऐसा लगा कि उसकी आंखें किसी दुष्ट सोच के कारण चमक रही थीं।

"पर आप इतनी मेहनत करते हैं तो मन बहलाव के लिए क्या करते हैं?"

"मनबहलाव?" उसने सफेद दांतों के साथ मुस्कान दी। मेरी सांस तो जैसे वहीं थम गई। वह सचमुच बहुत सुंदर है। किसी को भी इतना सुंदर नहीं होना चाहिए।

"वैसे मनबहलाव के लिए मैं कई तरह की शारीरिक गतिविधियों में हिस्सा लेता हूं। हवाई जहाज उड़ाता हूं।" वह अपनी कुर्सी में करवट बदल कर बोला- "मिस स्टील! मैं एक पैसे वाला आदमी हूं और मेरे शोक भी काफी खर्चीले हैं।"

मैंने झट से केट के सवालों पर नज़र मारी क्योंकि मैं इस विषय को बदलना चाहती थी।

"आपने निर्माण में निवेश किया है। कोई खास कारण?" मैंने पूछा। वह मुझे इतना बेचैन क्यों बना रहा था?

"मुझे चीजें बनाना पसंद है और मुझे पता है कि वे कैसे काम करती हैं। कैसे उन्हें बनाया या बिगाड़ा जाता है। मुझे पानी के जहाज भी पसंद हैं। और क्या कहूं?"

"ऐसा लगता है कि आप तर्क और तथ्यों की बजाए दिल से सवालों के जवाब दे रहे हैं।" उसने हैरानी से मुझे देखा ।

"हो सकता है। हालांकि कई लोग तो ये भी कहते हैं कि मेरे पास दिल है ही नहीं।"

"वे ऐसा क्यों कहेंगे?"

"क्योंकि वे मुझे अच्छी तरह जानते हैं।" उसने होंठों से एक टेढ़ी सी मुस्कान दी।

"क्या आपके दोस्तों के हिसाब से आपको जानना आसान है?" मैं यह सवाल पूछते ही पछताने लगी क्योंकि ये तो केट की लिस्ट में भी नहीं था ।

"मिस स्टील! मुझे अपनी प्राइवेसी पसंद है और मैं अकसर इतनी आसानी से इंटरव्यू भी नहीं देता। मुझे अपनी गोपनीय बातें दूसरों के साथ बांटना पसंद नहीं है।"

"तो आपने इसके लिए हामी क्यों दी?"

"क्योंकि मैं यूनीवर्सिटी को चंदा देता हूं और लाख चाहने पर भी मिस कैवेना से पीछा नहीं छुड़ा सका। वह लगातार मेरे पी आर वालों को कोंचती रही और मुझे ऐसी लगन अच्छी लगती है । "

मैं जानती थी कि केट इन मामलों में कितनी अड़ियल थी। तभी तो आज मैं इस आदमी की घूरती निगाहों के बीच बैठी खुद को असहज पा रही थी, जबकि इस समय तो मुझे अपने पेपरों की तैयारी करनी चाहिए थी ।

"आपने खेतीबाड़ी की तकनीकों में भी पैसा लगाया है। आपने इस क्षेत्र में निवेश क्यों किया?"

"हम पैसा नहीं खा सकते। मिस स्टील, इस ग्रह पर बहुत से लोग ऐसे हैं, जिन्हें दो वक्त की रोटी भी पेट भर कर नहीं मिलती।"

"ये तो बड़ी ही दरियादिली है | क्या सचमुच आप दुनिया के गरीब भूखों का पेट भरना चाहते हैं?"

उसने कंधे झटके।

"ये तो बिजनेस है।" पर मुझे तो इसमें उसका कोई वित्तीय लाभ होता नहीं दिख रहा था। साफ था कि ये उसके आदर्शों में से एक था।

"क्या आपकी कोई फिलॉसफी है? अगर है तो क्या है?"

"मेरी अब तक कोई फिलॉसफी नहीं है। हो सकता है कि कारनेगी का नियम मेरे लिए आदर्श का काम करता हो: जब कोई व्यक्ति अपने मन को पूरी क्षमता के साथ संभालने की योग्यता रखता है तो वह किसी भी चीज को अपने वश में रख सकता है। मैं भी कुछ ऐसा ही हूं। मुझे खुद पर और आसपास की चीजों पर नियंत्रण रखना पसंद है।"

"क्या आप सभी चीजों को अपने वश में रखना चाहते हैं?"

"हां, काफी हद तक कह सकते हैं।"

"ऐसा लगता है कि कोई उपभोक्ता बोल रहा हो।"

"हां, मैं वहीं हूं।" वह मुस्कुराया पर उसकी मुस्कान होठों के कोनों तक नहीं पहुंची। कितनी हैरानी की बात है कि ये इंसान दुनिया के सारे भूखों को खाना खिलाने की बात करता है। मैं तो उसके रहस्यमयी अंदाज़ में खोकर भूल ही गई कि हम बात किस विषय में कर रहे थे। मैंने पानी निगला । कमरे का तापमान बढ़ रहा है या फिर शायद मेरे साथ ही ऐसा हो रहा है। मैं चाहती हूं कि बस अब ये इंटरव्यू खत्म हो जाए। बेशक केट के लिए काफी सामग्री हो गई है। मैंने अगले सवाल पर नजर मारी ।

"क्या आपको गोद लिया गया था? आपको क्या लगता है कि इस बात का आपकी परवरिश पर कितना असर पड़ा?" ओह! ये तो बड़ी व्यक्तिगत बात है। मैंने उसे घूरा और उम्मीद की कि उसे बुरा नहीं लगा होगा। उसकी भौहें सिकुड़ गई थीं।

"मेरे पास जानने का कोई तरीका नहीं है ।" "जब आपको गोद लिया गया तो आपकी उम्र क्या थी?"

"मिस स्टील! ये तो सभी जानते हैं ।" उसका सुर कड़ा था। कबाड़ा!!! हां, बेशक। काश मुझे भी पता होता, मैं तो उसका इंटरव्यू ले रही थी। मुझे थोड़ी खोजबीन करके आना चाहिए था। मैं झट से अगले सवाल पर आ गई।

"आपको अपने काम के लिए पारिवारिक जीवन का त्याग करना पड़ा होगा?"

"ये तो कोई सवाल नहीं है।"

"सॉरी!" ऐसा लगता है कि वह मुझसे किसी ऐसे बच्चे की तरह पेश आ रहा है, जिससे बार-बार गलती हो रही हो।

 

To be continue.......