Umra ka asar books and stories free download online pdf in Hindi

उम्र का असर

हेलो दोस्तो,
आज एक नया स्कूल वाला लव स्टोरी लेकर आया हूँ।
बता तब की है। जब एक काम उम्र का लड़का और एक उसे बड़ी उम्र की  लड़की का, उम्र का पड़ाव हो, ओर लड़के को उस लड़की से बेहद प्यार हो जाता है। फिर क्या होता है चलो आगे पड़ते है कहानी में,कहानी तब की है जब वो लड़का 6th या 7th में पड़ता था। ओर लड़की येही करीब या शायद 9th या 10th मैं पड़ती होगी।

कहानी शुरू होती है जुलाई से जब वो अपने छोटे भाई को लेकर स्कूल के गेट पर आती है और  वो लड़का स्कूल के मैदान मे। मस्तमग्न हो कर खेल रहा है।उसे शायद  कुछ नही पता कि कुछ ही मिनट में नींद चैन सब बर्बाद होने वाला है। वो लड़की जैसे ही उस लड़के के सामने से गुजरती है, तो लड़की कुछ और ढूंढ रही है शायद रूम या टीचर को, पर लड़के एक ही निगाहें में उसे देखे जा रहा है। उस वक्त, उस पल, उस छान मानो ऐसा लगा बस  उस लड़के के लिये सब वोही है। पर वो पल कुछ ही पल ठहरा फिर निकल गई। उस जो पल उसके लिये था वो लड़के का नाम विशाल था।ऐसी हर रोज़ हिने लगा करीब 2, 3 दिन फिर एक दिन उस लड़की के साथ उस भाई को देख जो उसी के क्लास में था। विशाल ने सोचा ये लड़का मेरे क्लास में है फिर क्या था उसे अपने साथ कर लिया और क्या था क्योंकि विशाल उस क्लास का मॉनिटर जो था अब क्या कहना उस का  विशाल ने उसके भाई से सब उसके भरे में सब पूछ लिया। नाम क्लास कहाँ घर है क्या क्या करती है सब कुछ डरा के नही प्यार से और उस ने भी सब बता दिया । जो उसका नाम रशिम था। ओर वे 9th में पड़ती थी। वो रोज अपने भाई को स्कूल छोड़ने आती थी डेली सिर्फ 7 से 14 मिनट तक ऐसे ही विशाल उसको देखती ओर वे भी देखती चुपचुप के ओर हंसती। फिर एक दिन विशाल ने अपने दोस्तों से कहन की यार अब बोल देने चाहिए कि मैं तुमसे प्यार करता हूँ। फिर क्या दोस्तो ने चढ़ा दिया और अगले दिन जब भाई को होड़ कर जाने लगी तो विशाल ने पीछे जाकर रस्ते में तेज़ी से आवाज़ दी रश्मि सुनो नहीं सुनी फिर जोर से बोला रश्मि सुनो तब पीछे मुड़कर देखती है और कहती है क्या हुआ में ने जाकर हाथ पकड़ लिया और जल्दी से बोलने लगा I love You. ओर बोला मैं आपसे प्यार करता हूँ फिर I love you... ओर जल्दी से स्कूल में भाग गया। फिर कुछ समय के बाद सोचने लगा यार इसका भाई तो मेरे क्लास में पड़ती है कहीं सर को ना बोल दे अपने मन में डरने लगे और स्कूल की छुट्टी हो गया काल फिर आई। हर बार समय पर आती थी आज नही आई क्या हुआ मैंने दोस्तो से कहाँ फिर प्राथना हुआ और क्लास मैं जाने लगे फिर भी नहीं आई क्लास में बैठ सारे मेरे दोस्तों कहा रहे थे विशाल वो अपने मम्मी पापा को लेकर आएगी बेटा तू तो गया में ओर डरने लगे मैन आगे बैठने वाले आज पीछे जाकर बैठ गया सब  रूम बच्चे देखने लगे आज पीछे क्यों में चुपचाप सर  के जो लिखने के चौक लेने प्रिंसिपल ऑफिस गया और जैसे ही में क्लास की तरफ आने लगा तो मैंने सोचा आज तक कभी गेट तक तो आती नहीं आज रूम के अंदर कैसे में बहुत डर गया क्योंकि रश्मि मेरे सर से बात कर रही थी में डरते डरते रूम में पहुंचा तो सर ने इतने दरे क्या कर रहे थे में डरते डरते बोला सर वो कोई नहीं था ढूंढने में समय लग गया    फिर सर ने जोर से कहाँ क्या बोल रहे थे मैं अपने अंदर बहुत डर गया और मन में सोचा सब बोल दिया इस ने सर ,को मैने  क्या कहा किस को डर के बोला फिर सर बोले राजू को मैन कहाँ सर उल्टा सीधा बोल रहा था।
ओर में जाकर अपने पीछे सीट पर बैठ गया। और चोरिचोरी उसे ओर सर को देखने लगा करीब 10 या 15 तक सर हाज़री ले रहे थे क्लास के बच्चो का तभी  मुझे देख देखकर हंस लगी ओर मैंने सोचा नही  बोली सर को  फिर मैंने भी मौका देख उसे आँख मारा और हंसने लगा धीरे धीरे।

बाकी इसके बाद अगर आप सभी को  अच्छी लगी तो आगे लिखूँगा आगे बहुत मजेदार मोड़ है......