Benaam shayri - 3 books and stories free download online pdf in Hindi बेनाम शायरी - 3 (37) 2.1k 9.1k 3 बेनाम शायरी💐💐 💐💐 💐💐 💐💐 💐💐 💐💐ये शराब तो बस नाम से बदनामी झेल रही है।असल में नशा तो हमे तेरी आंखे ही दे रही है ।।💐💐 💐💐 💐💐 💐💐 💐💐 💐💐इश्क की कुर्बानी को जायज किसने माना है!?"बेनाम"दर्द की इस दुश्वारी को किस किसने पहचाना है !?💐💐 💐💐 💐💐 💐💐 💐💐 💐💐आंसुओ के कहां कोई किनारे है।मयखानों में छुपे दर्द हजारों है।।💐💐 💐💐 💐💐 💐💐 💐💐 💐💐ये नजरो की नजाकत जो तुम हथियार बनाए बैठे हो। यकीन मानो तुम इश्क की एक जंग सजाए बैठे हो।।💐💐 💐💐 💐💐 💐💐 💐💐 💐💐ये बेरहेम दुनिया से रहम की आस क्यों ??जहां इंसान नहीं वहां खुदा की प्यास क्यों ??💐💐 💐💐 💐💐 💐💐 💐💐 💐💐ये आखरी कोशिश मै दिख रहा हूं। अकेला हूं मै जो ये लिख रहा हूं।।दर्द ये ग़ज़लें और अपनापन बहुत है।फिर भी आज बस गैरत लिख रहा हूं।।💐 💐💐 💐💐 💐💐 💐💐 💐💐क्यों किसी के सब्र का इम्तिहान लेने बैठे हो !?सुबह की गुलाबी ठंड में आग लगाए बैठे हो।।💐💐 💐💐 💐💐 💐💐 💐💐 💐💐ये आरज़ू तुम किसी और से लगाए बैठे हो। यकीनन अब तुम खुद को गंवाए बेठे हो ।।💐💐 💐💐 💐💐 💐💐 💐💐 💐💐मैं उसके दर पे जाऊ भी तो कैसे !?मन मेरा फिर मनाऊ भी तो कैसे !?वो रिश्ता तोड़ते तो संभल भी जाता,दिल टूटा है समजाऊ भी तो कैसे !??💐💐 💐💐 💐💐 💐💐 💐💐 💐💐"बेनाम" ये आग, ये पवन या चाहे हो दरिया।अंबर का मिलन हो धरती से यही है जरिया।।💐💐 💐💐 💐💐 💐💐 💐💐 💐💐फिर उदासी का आलम हटा लिया है तुमने,आंखो मे उमड़े हुए आंसू बहा दिया है तुमने।पत्थर तराश ने का हुनर था लाजवाब तुजमे, फिर हंसते हुए तारे को सजा लिया तुमने।।💐💐 💐💐 💐💐 💐💐 💐💐 💐💐एक समर हो अगर इश्क का इस जहान में कभी।तुम सारे दावपेंच हम पर आजमाना आकर वहीं।।💐💐 💐💐 💐💐 💐💐 💐💐 💐💐कितना आसान है प्यार का इजहार करना। हंसते हंसते ही जिंदगी को दुश्वार करना।।💐💐 💐💐 💐💐 💐💐 💐💐 💐💐क्या रंग? क्या रूप? ना जाने क्या हो तुम बाला!?बिन पिए ही मुझे चड़ रही है जैसे बैठा मधुशाला।।💐💐 💐💐 💐💐 💐💐 💐💐 💐💐तेरी मोहब्बत का कर्ज कुछ इस तरह चुकाएंगे।"बेनाम" दर्द में भी बस हम हरदम मुस्कुराएंगे।।💐💐 💐💐 💐💐 💐💐 💐💐 💐💐कहां आसान राह थी इस बेवजह इश्क की।ये तो आंखो में बसी थी बयार बस रिस्क की।।💐💐 💐💐 💐💐 💐💐 💐💐 💐💐तुम भी गजब के सवाल करती हो,ख़ामोश रहकर भी बवाल करती हो।उफ़ ये तेरे नयनों के वार भी हमपर,झुकी पलको से भी शिकार करती हो।।💐💐 💐💐 💐💐 💐💐 💐💐 💐💐अजेय होने का तिस्मिल जो तुमने खुद का बनाए रखा है।खुद की ही नजरो में खुद को तुमने कैद बनाए रखा है ।।💐💐 💐💐 💐💐 💐💐 💐💐 💐💐 Thank you.... ... ✍️ Er. Bhargav Joshi "benaam"💐💐 💐💐 💐💐 💐💐 💐💐 💐💐 [ क्रमशः ] ‹ Previous Chapterबेनाम शायरी - 2 › Next Chapterबेनाम शायरी - 4 Download Our App More Interesting Options Hindi Short Stories Hindi Spiritual Stories Hindi Fiction Stories Hindi Motivational Stories Hindi Classic Stories Hindi Children Stories Hindi Comedy stories Hindi Magazine Hindi Poems Hindi Travel stories Hindi Women Focused Hindi Drama Hindi Love Stories Hindi Detective stories Hindi Moral Stories Hindi Adventure Stories Hindi Human Science Hindi Philosophy Hindi Health Hindi Biography Hindi Cooking Recipe Hindi Letter Hindi Horror Stories Hindi Film Reviews Hindi Mythological Stories Hindi Book Reviews Hindi Thriller Hindi Science-Fiction Hindi Business Hindi Sports Hindi Animals Hindi Astrology Hindi Science Hindi Anything Er.Bhargav Joshi અડિયલ Follow Novel by Er.Bhargav Joshi અડિયલ in Hindi Poems Total Episodes : 6 Share NEW REALESED Love Stories એક નવી દિશા - ભાગ ૨ Priya Thriller અગ્નિસંસ્કાર - 52 Nilesh Rajput Thriller સ્વપ્ન Ab Nana Horror Stories ફાર્મ હાઉસ (રહસ્યમય ઘટના) - 19 Dhruvi Kizzu Love Stories સંબંધોમાં રહેલ, લગ્નજીવનની પહેલ - 6 Hitesh Parmar Detective stories શિવકવચ - 11 Hetal Patel Fiction Stories ચોરોનો ખજાનો - 59 Kamejaliya Dipak Classic Stories ત્રિભેટે - 10 Dr.Chandni Agravat Love Stories લવ ફાઈન, ઓનલાઇન - 21 Hitesh Parmar Classic Stories પ્રેમ કે દોસ્તી? - ભાગ 20 PRATIK PATHAK