Vo Pehli Baarish - 25 books and stories free download online pdf in Hindi

वो पहली बारिश - भाग 25

"काट दिया फोन इसने, अगर बता देता की कहां जा रहा है, तो क्या चला जाता।", ध्रुव निया की ओर देख कर बोला।

"डेट पे गया होगा ना, और तुम डिस्टर्ब ना करो इसलिए नहीं बताया होगा।", निया ने फटाक से जवाब दिया।

"हां.. वो तो मुझे पता है, कैब करके कहीं डेट पे ही गया है..
एक मिनट.. कैब से गया है ना।"

"हां.. अभी तुमने ही तो कहा।"

"राइट", अपने फोन को टटोलते हुए ध्रुव बोला। "पता लग गया, वो कहां जा रहा है, उसके फोन में आई बीप की आवाज़ के बाद ही ध्रुव बोला।

"कैसे?"

"कुनाल की सारी कैब राइड्स मुझसे शेयर रहती है, हमारे सेफ़्टी स्टेप के तौर पे। और ये वाली भी शेअरएड है।"

"वाह.. सही है, तुम लोगो का, तो कहां जा रहा है वो?"

"हुबली रेस्ट्रो.."

"अरे वो तो बहुत बढ़िया है, चलना है क्या फिर?"

"हां.. देखना तो है ही, की कुनाल किसके चक्करों में फस गया है।", आगे की तरफ बढ़ते हुए ध्रुव ने बोला।

"चलो फिर", निया भी लिफ्ट की तरफ़ बढ़ते हुए बोली।

"हां.. नहीं, 5 मिनट रूको अब तुम, मैं कपड़े बदल के आया। नहीं तो फिर बोलोगी की ऐसे ही उठ के आ जाता है।"

"हां.. बदल तो लेने चहिए तुम्हें।", निया ने बोला और ध्रुव छोटा सी शक्ल बना कर चल दिया।

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कुछ देर बाद, ध्रुव जब बाहर आया, तो निया वहां बैगनी कलर के प्लेन गोल गले वाला टॉप, काली जींस और अपनी काली काली हील्स पहन कर, उसका इंतज़ार कर रही थी।
उसके खुले बालों और आंखों में लगे हल्के काजल को देखा कर, ध्रुव कुछ पलो के लिए जैसे उन्हीं में खो गया था।

"अरे वाह.. चलो फाइनली तुमने अपना चेहरा धो लिया।", काली पूरी बाजू की टी-शर्ट जिसमें कुछ भूरी पटिया थी, और नीली जींस पहने ध्रुव, को देख कर निया बोली।

"हां.. अब साथ चलने वाले दो में एक इंसान तो अच्छा लगे कम से कम।", अपने चमकते चेहरे की तरफ़ इशारा करते हुए ध्रुव बोला।

"हाहा... तुम्हें चाहिए तो हम किसी भी पूछ सकते है, की हम दोनों में से कौन ज्यादा अच्छा लग रहा है।", निया ने चिड़ाते हुए बोला।

"तुम्हें इस चीज़ में हराते हुए मुझे खुशी तो बहुत होगी, पर अभी चले?", धुव्र ने अपनी आवाज़ में अविलंबिता दिखाते हुए कहा।

"हां", निया के ये बोलते ही, दोनो लिफ्ट की ओर भागे।

"वैसे रिया कैसी है अब?"

"बस दवाई खा कर सो गई है। पेट दर्द ज्यादा नहीं है तो सही हो जाएगी जल्दी।"

वो दोनो लिफ्ट से उतरे ही थे, की उनकी उम्मीद से जल्दी, कैब भी आ गई।

"हांजी भैया, हुबली रेस्ट्रो जाना है।", ध्रुव के ये बोलते हुए दोनो बैठे।

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कैब से उतरे दोनो, एक बड़ी सी बिल्डिंग के सामने खड़े थे, बाहर से नीले रंग की बिल्डिंग पे कई सारे रंग बिरंगे चमकते हुए बोर्ड लगे हुए थे। उन्हीं में से एक बोर्ड में लाल रंग में बड़ा बड़ा लिखा था, "हुबली"।

"थर्ड फ्लोर पे है।", निया ने बोर्ड की तरफ़ इशारा करते हुए कहा।

"हां.. चलो।", ध्रुव ने बोला और वो दोनो एस्क्लेटर के और बढ़ दिए।

एस्केल्टर के और बढ़ते हुए, निया का पैर हल्का सा फिसला सा तो, ध्रुव ने तुरंत से उसका हाथ थाम लिया।

"तुम ठीक हो ना?", ध्रुव ने फिक्रमंद होकर पूछा।

"हां..", निया ने हल्के से जवाब दिया।

"दोनो एक साथ कितने अच्छे लग रहे है ना.. हाय, मैं तो अपने शिपी ने भी ये कहती हूं की ऐसा कोई चंगा सा लड़का ढूंढीयों।", उन दोनो को हाथ पकड़ा देख, सामने वाले एस्केल्टर से जाते हुए दो महिलाएं जाती हुए बोली।

"हील्स नहीं पहननी आती, तो पहन के क्यों आई हो?", उन दोनो की बातें सुन कर घबराया हुआ ध्रुव निया का हाथ छोड़ता हुआ बोला।

"क्योंकि मन था मेरा, मैं उन लोगो में से नहीं जो किसी चीज़ के मुश्किल होने पे उससे भाग जाए।", निया थोड़े गुस्से में बोली।

"सॉरी.. मेरा मतलब कुछ वैसा नहीं था", निया के गुस्से को भांपते हुए ध्रुव फट से बोला।

"हहमम.. ठीक है. शायद मैंने भी ज्यादा ही रिएक्ट कर दिया था।", निया भी अपना गला साफ़ करते हुए बोली।

दोनो आगे बढ़ कर अंदर गए, तो देखा, अंदर की छत पूरी पिली पीली लाइटों से सजी हुई थी, और कहीं बैठने के लिए टेबल चेयर लगे हुए थे, और कहीं सोफा लगे थे, बैठने के लिए। कमरे में कोने में बड़े बड़े कांच के शीशे लगे हुए थे, जिससे बाहर का नज़ारा दिखा दे रहा था।
और ज्यादातर उसी जगह के आस पास के टेबल भरे हुए थे।
"क्या लगता है, कुनाल भी यहीं कहीं बैठा होगा ना?", निया ने ध्रुव से पूछा।

"हां.. लगता तो यही है।", ध्रुव ने भी बोला।

वो दोनो बात कर ही रहे थे, की इतने में उनके पास आकर वेटर ने पूछा की वो कितने लोगो का टेबल ढूंढ रहे है।

"टेबल फॉर 2", बिना ज्यादा सोचते हुए ध्रुव बोल पड़ा।

"ध्रुव.. हम टेबल पे बैठ जाएंगे तो, उन्हें कैसे ढूंढेंगे।", निया ने धीरे से ध्रुव के पास आते हुए कहा।

"हां.. सॉरी एक मिनट.. "
"एक्सक्यूज मी.. आ.. आप ऐसी टेबल बता सकते है, जो लोग अक्सर पहली डेट पे आते है, वो लेते है।"

"अ.. अ.. शोर सर.. मैं अभी आपको बताता हूं।", ध्रुव की अजीब सी डिमांड का जवाब ना जानता हुआ वेटर रिसेप्शन पे जाता हुआ बोला।

"पहली डेट वाली टेबल, ये कौन पुछता है?", निया ने चुटकी काटते हुए ध्रुव से पूछा।

"मुझे जो समझ आया.. मैंने पूछ लिया.. तुम पूछ लेती अगर कुछ गलत लग रहा था तो।"

"ओहो..", अपने सर पे हाथ रखते हुए निया बोली। "चलो हम ही उन्हें ढूंढते है।"

"ठीक है, चलो..", ध्रुव भी बोला और दोनों मुड़ कर दूसरी तरफ़ कुनाल और उसकी गर्लफ्रेंड को ढूंढने के लिए निकले।

वो अभी थोड़ा सा ही चले थे, की फिर से निया का पैर हल्का सा मुड़ा और वो लड़खड़ा गई, और उसने साथ चलते हुए ध्रुव की बाजू पकड़ी और ठीक से खड़ी हुई ही थी, की सामने से आवाज़ आई।
"निया.. ध्रुव, तुम दोनो यहाँ।", ये बोलने वाला और कोई नहीं कुनाल था।

इससे पहले की वो कुछ बोलते, वेटर वहां आया और बोला, "सर आप गलत जगह आ गए है.. फर्स्ट डेट वालों का टेबल वहां है.. आइए मैं आपको दिखाता हूं।"