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इस जन्म के उस पार - 1

इंट्रोडक्शन ऑफ कैरेक्टर



लंदन -फेंमून बार.....
लगभग 5.11की हाइट, रंग गेहूआ, काली आंखे, पतले होंठ कोई एक नज़र देखे तो उसकी मासूमियत मे खो जाये। वो लड़का जैकेट पहने डांस कर रहा था की कुछ देर बाद वो ड्रिंक लेने जाता है जहाँ वो एक लड़की से टकरा जाता है.. वो सॉरी कहता है पर लड़की उसपे भड़क जाती है 😠, "u idiot.!दिखाई नहीं देता. This is my new dress.!"

लड़का :- देखो मेने सॉरी कहा ना और थोड़ी गलती तुम्हारी भी थी.. ओके.!!

तभी उस लड़की का बॉयफ्रेंड आ जाता है जिसे देख लड़की मासूम सा फेस बना के, "देखो ना बेबी.!!इसने मेरी न्यू ड्रेस खराब कर दी.!!"लड़की का बॉयफ्रेंड उस लड़के को मारता उससे पहले कोई उसकी गर्दन पीछे से पकड़ लेता है और अपनी तरफ घुमा के जोर से उसे पंच 👊मरता है वो गिरता है तो टेबल टूट जाता है सब हैरान हो उसे देखते है सारा म्यूजिक भी बंद हो जाता है. तभी मैनेजर वहा आके,"i ऍम extremely sorry mr. Oberoi.!"वो दो बाउंसर को बुला के उस लड़की के बॉयफ्रेंड को बाहर फिकवा देता है।
सब उसे देखते है.6.2हाइट, मसकुलर बॉडी, हलकी बियर्ड, ग्रे आँखे जिसमे कुछ अलग ही कशिश थी. पर्सनलिटी से एक दुम हीरो.!!

एक लड़की आह भरते हुए 🤤:- हाय.. ये है सूर्यांश ओबेरॉय.!!काश ये मेरा बॉयफ्रेंड होता.!!

मैनेजर उसकी एक नजर से डर गया था,"सर प्लीज एन्जॉय द पार्टी.!!"

वो मैनेजर को घूर ही रहा था की पहले वाला लड़का, "इट्स ओके.!!हेय फ्रेंड्स एन्जॉय पार्टी कहकर उसे अपने साथ लेकर चला जाता है।

बाहर जाते ही वो उस लड़के को पंच 😠👊मार के,"वीर तू हरकतों से बाज नहीं आएगा.!!"

वीर अपने मुँह पर हाथ रख🤕, "यार सूर्या लग गई मुझे.!!"

सूर्यांश 😤:- तूने सब जानबूझकर किया.!!

वीर😠 :-किया तो, तू मेरे साथ आ तो जाता है पर एन्जॉय नहीं करता तो तेरा अटेंशन पाने के लिए किया.!!

सूर्यांश 😠:- तो पिट जायेगा क्या.इडियट ??

वीर😊 :- तेरे लिए ये भी मजूर है.!

सूर्यांश 😏:- कमीना नहीं सुधरेगा.!!

वीर 😉:- दोस्त तो तेरा ही हु..!मी. सूर्यांश ओबेरॉय.!!

ये थे सूर्यांश ओबेरॉय.. लंदन के बहुत बड़े बिझनेस टाइकोन
ओबेरॉय ग्रुप्स एंड एम्पायर के ऑनर.. इनकी कॉम्पनी इंडिया की नंबर वन और लंदन की टॉप 3 लिडिंग कम्पनीस मे से एक है.. दूसरे बारखुदार है वीर रायचंद... पार्टनर कम दोस्त ज्यादा जो सूर्यांश के साथ ही उसकी कम्पनी संभालता है.. वीर को सूर्यांश के माँ - पापा ने गोद लिया था.. सूर्यांश के माँ पापा की डेथ अभी 7 साल पहले ही एक्सीडेंट मे हुई थी तब से वो लंदन चले आया.. सूर्यांश के दादा और दादी जी इंडिया मे थे... जिनसे वो बहुत प्यार करता था वो उनके साथ रहने के लिए आक्ससर इंडिया चला जाता था.।

दोनों घर पहुंच के सोने चले जाते है... अगली सुबह ब्रेकफास्ट टेबल पर दोनों बाते कर रहे थे..

वीर :- तो इस बार इंडिया कब जाना है.?

सूर्यांश :- अगले हफ्ते.!!

वीर :- ओके. मेने तो पूरी प्लानिंग और पेकिंग कर रखी है.. बस तु बोल तब मे तैयार ही हु.!!

दोनों बात कर ही रहे थे की एक मॉडल लड़की रेड कलर की शार्ट ड्रेस पहने अंदर आ गई थी. जो वीर के गले लग उसके गालो पे किस कर :- गुड मॉर्निंग माय बेबी.!!

वीर :- हाय माय बेबी.माया..!

माया थी तो वीर के पास थी पर उसकी नज़रे सूर्यांश के ऊपर थी जिससे सूर्यांश चीड़ गया..!!सूर्यांश, "अपने ये चोचले तू बाहर नहीं रखता. 😤😤!!"

माया सूर्यांश के तरफ फिलर्ट करते हुए :- ओह कॉम ऑन सूर्या.!!अब तुम्हे मुझसे दोस्ती कर लेनी चाहिए.!!

सूर्यांश उसके हाथ को रोक 😤:- मुझे सूर्या सिर्फ मेरे करीबी लोग कहते है बाकि सबके लिए मे सिर्फ और सिर्फ मी. ओबेरॉय हु.. समझ आई बात.!!

वीर बात संभालते हुए :- चलो माया बेबी, चलो साथ मे ब्रेकफास्ट करते है.!!

सूर्यांश पहले वीर को घूरता है और बाद मे माया जिस चेयर पर बैठने जाती है उसे घूर के देखता है तो वो चेर पीछे खिसक जाती है इस बात से अनजान माया बैठने जाती है और गिर जाती है।
माया :- आउच.!!!😣

सूर्यांश टेड़ी स्माइल करता है और वीर सर झटका के माया को उठता है वापस बैठा देता है।माया जैसे ही प्लेट को उठाने जाती है सूर्यांश उस प्लेट को भी घूर के खिसका देता है.. सूर्यांश जूस के जग को आँखों से माया के ऊपर गिरा देता है। माया डर जाती है.., "यहां... यह.. क्या.??"

सूर्यांश :- एकटुल्ली माया.. यहां मेरी एक दोस्त का भूत है.. वो ना बर्दास्त नहीं करती की यहां कोई लड़की आये.!सॉरी हा.!!

माया डर के, "मे.. मे चलती हु.. बेबी कल मिलते है.!"वो फटाफट बाहर चली जाती है की सूर्यांश हस्ता है।
वीर उसे रोकने जाता है तो सूर्यांश दरवाज़े को ऊपर और दीवार को निच्चे कर देता है जिसे देख वीर उसे घूर के😒 :-तुझे नहीं लगता तू अपनी शक्तियों का गलत इस्तेमाल कर रहा है।

सूर्यांश 😤:- तुझे नहीं लगता तुझे उस चिपलकी से दूर रहना चाहिए.!!

वीर हाथ बांध :- she is my girlfriend.!!

सूर्यांश 😠:- रियली.??

वीर :-😒 हा समझ गया.. फाइन अब नहीं मिलूंगा उससे ओके.. धीरे से बदब्दाके 😏:- साला खुद तो कुंवारा रहेगा मुझे भी कुंवारा ही मारेगा.!!!

सूर्यांश अपनी आंख पर गोगाल्स चढ़ा के बाहर जाता है तो दरवाजा खुदब खुद निचे आ जाता है.. वो कार मे बैठ ता है तो वीर उसके बगल मे बैठ जाता है..

वीर :- तू जानता है आधे से ज्यादा लड़कियां मेरी गर्लफ्रेंड सिर्फ इस लिए बनती है ताकि वो तुजसे मिल सके.!!

सूर्यांश :- हम्म.!!

वीर :- क्याहुम्म.!!कोई अच्छी सी भाभी क्यों नहीं ढूंढ लेता तू मेरे लिए.!!

सूर्यांश :- हम्म.!!

वीर सर झटक मन मे :- मे भी कहा पत्थर पर सर फोड़ रहा हु.!!

रात को सूर्यांश खाली आँखों से आसमान को देख रहा था तभी वीर उसके कंधे पर हाथ रख :- सूर्या तू भूल क्यों नहीं जाता वो सब.!!

सूर्यांश :- कैसे भूलू वीर उस एक हादसे ने सब बदल दिया.!ये अजीब सी शक्तिया.?? वो ढूंढ़ले से सपने...क्या हु मे.?

वीर :- इसके लिए तुझे इंडिया मे रहना होगा.. पर तू मानता ही नहीं.पिछले 7 सालो से यहां आ गया है...

सूर्यांश :- पर कहा जाऊ इतने बड़े इंडिया मे कुछ तो ऐसा जहाँ से शुरू कर सकूँ.!!

वीर :- भगवान पे भरोसा रख.. सब सही होगा क्या पता इसबार वो मिल जाये जो हम ढूंढ रहे है..!!

सूर्यांश :- हम्म. चल सब सही ही होगा.!!